प्रदेश पर गहराया वैक्सीन का संकट, वैक्सीन लगवाने परेशान रहे लोग
छतरपुर। राज्य सरकार 21 जून से 30 जून तक कोरोना वैक्सीनेशन को अभियान के रूप में गति देते हुए टीका उत्सव मनाने के दावे कर रही है लेकिन प्रदेश भर में वैक्सीन का संकट गहरा गया है। सागर संभाग के कई जिलों में गुरूवार को लोगों को वैक्सीन लगवाने के लिए काफी परेशान होना पड़ा। कई लोग केन्द्रों से बगैर वैक्सीनेशन के ही लौट गए क्योंकि पर्याप्त मात्रा में डोज उपलब्ध नहीं थे। छतरपुर जिले में भी यही हाल रहा। गुरूवार को यहां सिर्फ 10 केन्द्रों पर 2 हजार डोज ही लग सके। वैक्सीन लगवाने की चाहत लेकर आए कई लोग मायूस होकर वापस लौट गए। टीकाकरण विभाग के अधिकारियों ने बताया कि विश्व योग दिवस यानि 21 जून के पहले छतरपुर में प्रतिदिन 5 हजार टीके भी नहीं लग पा रहे थे लेकिन अभियान के कारण आई जन जागृति ने लोगों को टीकाकरण केन्द्रों पर पहुंचाना शुरू कर दिया है। 21 जून को जहां लगभग 28 हजार लोगों को टीके लगे तो वहीं मंगलवार के अवकाश के बाद बुधवार को एक बार फिर साढ़े 13 हजार लोगों को टीके दिए गए। राज्य सरकार द्वारा भेजा गया टीके का तमाम स्टॉक खत्म हो गया। छतरपुर में बुधवार की शाम ही वैक्सीन खत्म हो गई थी। सागर से वैक्सीन लेने के लिए गाड़ी भेजी गई लेकिन सागर में भी समय पर वैक्सीन मौजूद नहंी थी। गुरूवार की सुबह सागर से छतरपुर जिले के लिए सिर्फ 2 हजार डोज ही उपलब्ध हो सके। छतरपुर में यह टीके दोपहर 12 बजे पहुंचे। इनमें से 1200 डोज छतरपुर शहर में एवं 800 डोज हरपालपुर क्षेत्र में भेजे गए। ज्यादातर केन्द्रों पर सुबह से लगी कतारों के कारण सिर्फ एक घंटे में ही यह टीके लोगों को लगा दिए गए। इस बीच 8 हजार डोज के लिए एक और गाड़ी सागर रवाना की गई। यहां से गुरूवार की शाम तक वैक्सीन के डोज मिलने की उम्मीद जताई गई है। सुबह 8 बजे से ही वैक्सीनेशन कराने के लिए छतरपुर के शासकीय उत्कृष्ट विद्यालय क्रमांक 1 सहित अन्य केन्द्रों पर बड़ी संख्या में लोग पहुंचने लगे। केन्द्र पर मौजूद लोगों ने कहा कि वैक्सीन कुछ ही देर में आने वाली है। पंजीयन के लिए लोगों के आधार कार्ड जमा करा लिए गए और फिर वैक्सीन दोपहर 12 बजे तक पहुंची। इस बीच चार घंटे में लोग न तो घर लौटे और न ही उन्हें वैक्सीन मिली। यही वजह थी कि आधार कार्ड जमा होने के कारण केन्द्रों पर सैकड़ों लोग भटकते नजर आए। स्कूल के एक हॉल में तो 100 से ज्यादा लोग एक-दूसरे से धक्का मुक्की करते हुए देखे गए। वैक्सीन के लिए लोग सोशल डिस्टेसिंग भी भूल गए। केन्द्रों पर सुरक्षा व्यवस्था और वैक्सीन की सही जानकारी का अभाव होने के कारण कोरेाना प्रोटोकॉल की धज्जियां उड़ीं तो वहीं लोग भी परेशान हुए।