व्यापमं घोटाला: पुलिस आरक्षक परीक्षा धांधली के मामले में दो लोगों को सात-सात साल कैद की सजा
सीबीआई की एक विशेष अदालत ने शनिवार को मध्य प्रदेश व्यापमं (व्यावसायिक परीक्षा मंडल) की ओर से आयोजित 2013 की पुलिस भर्ती परीक्षा में धांधली के मामले में दोषी करार देते हुए दो लोगों को सात-सात साल कैद की सजा सुनाई है। सीबीआई के विशेष अभियोजक सतीश दिवाकर ने पीटीआई-भाषा को बताया कि न्यायाधीश नीतिराज सिंह सिसोदिया ने मुरैना जिले के रहने वाले ओमप्रकाश त्यागी (35) और सतीश जाटव (35) को कैद की सजा के साथ दस-दस हजार रुपए का जुर्माना भी लगाया।
अभियोजन के अनुसार उम्मीदवार त्यागी ने पुलिस आरक्षक भर्ती परीक्षा के पास कराने के लिए जाटव को सवा लाख रुपये दिए और इसके बाद एक अन्य व्यक्ति प्रखर द्विवेदी को जाली प्रवेश पत्र और अन्य दस्तावेज तैयार कर परीक्षा लिखने के काम पर रखा गया।
दिवाकर ने बताया कि मुकदमे के दौरान त्रिवेदी की एक कार हादसे में मौत हो गई। उन्होंने बताया कि त्यागी और जाटव को भादंवि की संबद्ध धाराओं और मध्यप्रदेश परीक्षा मान्यता अधिनियम के प्रावधानों के तहत दोषी करार दिया गया। उन्होंने कहा कि सीबीआई इंस्पेक्टर शिरीष पावड़े मामले के जांच अधिकारी थे। मालूम हो कि मध्यप्रदेश में सरकारी भर्तियों और व्यावसायिक पाठ्यक्रमों में प्रवेश के लिए कुख्यात व्यापमं घोटाला हुआ था।