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अब चश्‍मे को कर दें टाटा-बाय बाय! भारत में आई ऐसी आई ड्रॉप, 15 मिनट में हट जाएंगे स्‍पेक्‍स, सरकार की मंजूरी

हाइलाइट्स

यह दवा के डालते ही 15 मिनट में आंख की रौशनी वापस आ जाएगी.अगले छह घंटे तक आंखों की रौशनी बेहतर रहेगी.सरकार ने इस दवा को बनाने की मंजूरी दे दी है.

नई दिल्‍ली. आप भी अपनी कमजोर आई-साइट के चलते अक्‍सर टीवी देखने या न्‍यूजपेपर पढ़ते वक्‍त बिना चश्‍मे के खुद को असहाय महसूस करते हैं? तो य‍ह खबर आप ही के लिए हैं. अब एक आई-ड्रॉप को डालते ही 15 मिनट में आपके आंख की रौशनी अस्‍थाई तौर पर लौट आएगी. दो साल से ज्‍यादा वक्‍त तक विचार-विमर्श के बाद, दवा नियामक यानी ड्रग्‍स कंट्रोलर जनरल ऑफ इंडिया (DGCI) ने पढ़ने के चश्मे की आवश्यकता को खत्म करने के लिए भारत की पहली आई ड्रॉप को मंजूरी दे दी है.

मुंबई में स्थित एन्टोड फार्मास्यूटिकल्स ने मंगलवार को पिलोकार्पाइन का उपयोग करके बनाई गई “प्रेस्वू” आई ड्रॉप लॉन्च की. यह दवा आंख की पुतलियों के आकार को कम करके ‘प्रेसबायोपिया’ का इलाज करती है. इस तरीके से किसी भी चीज को करीब से देखने में मदद मिलती है. प्रेसबायोपिया की स्थिति उम्र से जुड़ी हुई है और पास की चीजों पर ध्यान केंद्रित करने की आंखों की क्षमता में कमी पर काम करती है.

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6 घंटे तक बढ़ेगी आंखों की रौशनी
न्यूज18 को दिए इंटरव्‍यू में, एन्टोड फार्मास्यूटिकल्स के सीईओ निखिल के मसुरकर ने कहा कि दवा की एक बूंद सिर्फ 15 मिनट में काम करना शुरू कर देती है और इसका असर अगले छह घंटों तक रहता है. अगर पहली बूंद के तीन से छह घंटे के भीतर दूसरी बूंद भी डाली जाए, तो असर और भी लंबे समय तक रहेगा. कहा गया, “अब तक, धुंधली, पास की नजर के लिए पढ़ने के चश्मे, कॉन्टैक्ट लेंस या कुछ शल्य चिकित्सा हस्तक्षेपों को छोड़कर कोई दवा-आधारित समाधान नहीं था.”

कब और कितने में उपलब्‍ध?
एन्टोड फार्मास्यूटिकल्स आई, ईएनटी और त्वचाविज्ञान दवाओं में विशेषज्ञता रखता है और 60 से अधिक देशों को निर्यात करता है. अक्टूबर के पहले सप्ताह से, प्रिस्क्रिप्शन-आधारित ड्रॉप्स 350 रुपये की कीमत पर फार्मेसियों में उपलब्ध होंगे. यह दवा 40 से 55 साल की आयु के लोगों के लिए हल्के से मध्यम प्रेसबायोपिया के उपचार के लिए संकेतित है. मसुरकर का दावा है कि यह दवा भारत में अपनी तरह की पहली दवा है जिसका परीक्षण भारतीय आंखों पर किया गया है और भारतीय आबादी के आनुवंशिक आधार के अनुसार अनुकूलित किया गया है.

Tags: Health News, Latest Medical news


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एडवोकेट अरविन्द जैन

संपादक, बुंदेलखंड समाचार अधिमान्य पत्रकार मध्यप्रदेश शासन

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