मध्यप्रदेश

Sonia Gandhi called the President ‘poor’ | CM बोले- सोनिया गांधी ने हल्की टिप्पणी की,माफी मांगें: राष्ट्रपति को ‘बेचारी’ कहने पर बोले मोहन यादव- कांग्रेस की हरकतों से लज्जित होता है लोकतंत्र – Bhopal News

मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने सोनिया गांधी के बयान पर प्रतिक्रिया दी।

18वीं लोकसभा के बजट सत्र के पहले दिन शुक्रवार को राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने संसद के दोनों सदनों लोकसभा और राज्यसभा के जॉइंट सेशन में 59 मिनट का अभिभाषण दिया। उनके इस अभिभाषण पर कांग्रेस नेताओं की टिप्पणी पर विवाद खड़ा हो गया।

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सोनिया गांधी ने द्रौपदी मुर्मू को “बेचारी” कहा। वहीं राहुल ने भाषण को बोरिंग बताया। वहीं, राष्ट्रपति भवन के प्रेस सेक्रेटरी ने भी सोनिया गांधी के बयान पर आपत्ति जताई। उन्होंने कहा- विपक्षी सांसदों का बयान दुर्भाग्यपूर्ण और राष्ट्रपति की गरिमा को ठेस पहुंचाने वाला है।

सीएम बोले- सोनिया गांधी ने हल्की टिप्पणी की, माफी मांगें सीएम डॉ मोहन यादव ने सोनिया गांधी के इस बयान पर कड़ी प्रतिक्रिया देते हुए उन्हें माफी मांगने की बात कही है। सीएम ने अपने बयान में कहा- दुनिया के सबसे बडे़ लोकतंत्र में हमारे संविधान के मुखिया के नाते से राष्ट्रपति द्रोपदी मुर्मू ने प्रधानमंत्री मोदी के कार्यकाल को लेकर बजट भाषण में विस्तार से अपनी बात कही। बडे़ गर्व का विषय था। देश के लिए उत्साह और उमंग का वातावरण था। सीएम ने आगे कहा-

ऐसे में कांग्रेस के लोगों ने हमेशा की तरह और सोनिया गांधी ने जो हल्की टिप्पणी की है ये पूरे देश के लिए अपमानजनक है। खासकर आदिवासी बहन राष्ट्रपति के रूप में शोभायमान हैं। ऐसे में उनका अपमान करना ये सर्वथा निंदनीय है। मैं इसकी निंदा करता हूं और सोनिया गांधी से मांग करता हूं कि वे अपने कथन के लिए माफी मांगें। कांग्रेस का चरित्र है वो कदम कदम पर इस प्रकार की हरकतें करती है जिससे पूरा लोकतंत्र लज्जित होता है। राष्ट्रपति जी ने जितने अच्छे ढंग से अपनी बात रखी है वो पूरा देश जानता है। सोनिया जी को माफी मांगना चाहिए।

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पढ़िए सोनिया-राहुल का कमेंट…

सोनिया गांधी- अंत तक राष्ट्रपति बहुत थक गईं थीं। बेचारी वह मुश्किल से बोल पा रही थीं।

राहुल गांधी- यह बोरिंग था, वहीं बातें बार-बार रिपीट की गईं।

पप्पू यादव- राष्ट्रपति रबर स्टैंप की तरह हैं। वे बस लव लेटर पढ़ती रहती हैं।

अब पढ़िए राष्ट्रपति का अभिभाषण, 7 पॉइंट में…

1. किसानों पर किसानों को फसलों का उचित दाम दिलाने और आय बढ़ाने पर सरकार काम कर रही है। 332 मिलियन टन अनाज उत्पादन हुआ। खरीब-रबी फसलों की एमएसपी में बढ़ोतरी की है। मोटे अनाज की खरीद पर तीन गुना राशि खर्च की गई है। 109 उन्नत प्रजातियां किसानों को सौंपी गई हैं, अच्छी उपज के लिए। कृषि इन्फ्रास्ट्रक्चर फंड के दायरे को बढ़ावा मिलेगा। खाद्य तेलों और तेंदू उत्पादन को बढ़ाने का काम किया गया। प्राकृतिक खेती केलिए राष्ट्रीय मिशन चलाया जा रहा है।

2. स्टूडेंट्स पर छात्रों को उच्च शिक्षा में सहायता के लिए योजना शुरू की गई। 500 कंपनियों में इन्हें इंटर्नशिप भी दी जाएगी। पेपर लीक को रोकने के लिए नया कानून लागू किया गया है। सरकार ने ग्राम सड़क योजना के लिए 26 हजार करोड़ रुपए की स्वीकृति दी है। पिछले 6 माह में 17 वंदे भारत को जोड़ा गया है।

3. गरीबों-मिडिल क्लास पर गरीब को गरिमापूर्ण जीवन मिले, इसके लिए हम प्रयासरत हैं। देश के 25 करोड़ लोग गरीबी को परास्त कर आज अपने जीवन में आगे बढ़ रहे हैं। इन्होंने न्यू मिडिल क्लास का ऐसा प्लेटफॉर्म तैयार किया जो नई ऊर्जा से भर रहा है। सरकारी कर्मचारियों के सम्मान के लिए आठवें वेतन आयोग के गठन का निर्णय लिया है। केंद्र सरकार के लाखों कर्मचारियों के यूनिफाइड पेंशन के तहत 50 फीसदी निश्चित पेंशन देने का फैसला लिया गया है।

4. आदिवासियों पर आज देश के विकास में सबका साथ है इसलिए हम देश के सभी सामर्थ्य का अनुभव कर रहे हैं। इसका लाभ दलित, वंचित और आदिवासी समाज को मिल रहा है। जिस जनजातीय समाज की उपेक्षा होती रही, हमने उसके कल्याण को प्राथमिकता दी। 770 से ज्याद एकलव्य विद्यालयों में आदिवासी बच्चों को शिक्षा दी जा रही है। 30 नए मेडिकल कॉलेज खोले गए। स्वास्थ्य के लिए 5 करोड़ व्यक्तियों की स्क्रीनिंग की गई है।

5. इन्फ्रास्ट्रक्चर पर आधुनिक इन्फ्रास्ट्रक्चर देश को नया आत्म विश्वास देता है। हमने कई माइल स्टोन खड़े किए हैं। 10 साल पहले बुनियादी ढांचे का बजट 2 लाख करोड़ था, अब यह 11 लाख करोड़ से ज्यादा है। डीप वाटर मेगा पोर्ट की बुनियाद रखी गई है। ये दुनिया का टॉप 10 पोर्ट में से एक होगा। उधमपुर, श्रीनगर-बारामुला रेल योजना पूरी हो गई है। देश कश्मीर से कन्याकुमारी तक रेललाइन से जुड़ जाएगा। विश्व का सबसे ऊंचा ब्रिज, रेल केबल ब्रिज बनाया गया है।

6. हेल्थ सर्विस पर कैंसर मरीजों के लिए कैंसर दवाओं को कस्टम ड्यूटी से मुक्त कर दिया गया है। सर्वाइकल कैंसर के लिए 9 करोड़ महिलाओं की स्क्रीनिंग की जा चुकी है। जितना बल फिजिकल इन्फ्रास्ट्रक्चर पर काम किया, उतना ही सोशल इन्फ्रास्ट्रक्चर पर काम किया। अस्पताल, इलाज और सेवा के चलते परिवार का खर्च लगातार कम हो रहा है। एक लाख 75 हजार आयुष्मान आरोग्य मंदिर बने हैं।

7. बैंकिंग-टेक्नोलॉजी पर आज भारत टेक्नोलॉजी के रूप में अहम ग्लोबल प्लेयर है। भारत में 5 जी की शुरुआत इसका उदाहरण है। यूपीआई टेक्नोलॉजी की सफलता से प्रभावित हैं। 50 फीसदी से ज्यादा रियल टाइम डिजिटल ट्रांजैक्शन हो रहा है। भारत में छोटे से छोटा दुकानदार इस सुविधा का लाभ उठा रहा है। बैंकिंग सेवाएं, UPI जैसी सुविधाएं उपलब्ध हैं। 5 लाख से ज्यादा कॉमर्स सर्विस सेंटर में दर्जनों सुविधाएं उपलब्ध कराई गई हैं। डीजी लॉकर से कहीं भी और कभी भी अपने अहम दस्तावेज दिखाने की व्यवस्था मिली।


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एडवोकेट अरविन्द जैन

संपादक, बुंदेलखंड समाचार अधिमान्य पत्रकार मध्यप्रदेश शासन

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